अल्मोड़ा १९ मई। अल्मोड़ा की सड़कों की दुर्दशा पर अल्मोड़ा विधायक मनोज तिवारी ने गहरा आक्रोश व्यक्त करते हुए सम्बन्धित विभागों को एक सप्ताह का अल्टीमेटम दे दिया है। तिवारी ने कहा है कि, यदि एक सप्ताह के भीतर सड़कों के सुधारीकरण का कार्य प्रारम्भ नहीं किया गया तो वे सम्बन्धित विभाग के कार्यालय में धरना प्रदर्शन एवं आन्दोलन को मजबूर होगें। आज प्रैस को जारी एक बयान में अल्मोड़ा के विधायक मनोज तिवारी ने कहा कि, लम्बे समय से अल्मोड़ा की सड़कें दुर्दशा का दंश झेल रही हैं, परन्तु सम्बन्धित विभाग केवल टालमटोली में लगे हैं। उन्होंने कहा कि, लक्ष्मेश्वर बायपास से धार की तूनी होते हुए शैल को जाने वाली सड़क की हालत खस्ताहाल है। रानीधारा सड़क जगह – जगह टूटी है, पिछले दिनों रानीधारा सड़क का एक बड़ा हिस्सा गिर जाने से मार्ग पूरी तरह अवरूद्ध हो चुका है। इसके अलावा जगह – जगह सड़कों की सुरक्षा दीवार गिरने से भवनस्वामियों के भवनों को खतरा उत्पन्न हो गया है, परन्तु विभाग अपनी आंखे मूंदे बैठा है।
विधायक तिवारी ने कहा कि, राज्य योजना के तहत जिन सड़कों का सुधारीकरण होना था, वे सड़के विभाग के लचर रवैये के कारण अभी भी बेहद खराब स्थिति में हैं। इसके साथ ही राज्य योजना के तहत जिन सड़कों का कटान हुआ था उनमें आगे का कार्य ना होने के कारण उनसे लगे आवासीय भवनों को खतरा उत्पन्न हो गया है। उन्होंने कहा कि, क्षतिग्रस्त सड़को/सुरक्षा दीवारों के कारण जहां सड़कों के नीचे निवासरत भवनस्वामियों के भवनों को खतरा है वहीं दूसरी ओर रोजमर्रा इन सड़कों से आवागमन करने वाले वाहन चालकों/राहगीरों को अनेकों परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। तिवारी ने कहा कि, यदि एक सप्ताह के भीतर लक्ष्मेश्वर बायपास से धार की तूनी/शैल मार्ग के डामरीकरण का कार्य, रानीधारा मार्ग की मरम्मत के कार्य के साथ राज्य योजना की सभी क्षतिग्रस्त सड़कों की मरम्मत एवं सुरक्षा दीवारों का निर्माण कार्य प्रारम्भ नहीं किया गया, तो वे सम्बन्धित विभाग के खिलाफ धरना-प्रदर्शन एवं आन्दोलन को बाध्य होंगे जिसकी समस्त जिम्मेदारी सम्बन्धित विभाग की होगी